सभी करणी सैनिकों को जय माताजी की हुकुम राजस्थान प्रदेश अध्यक्ष की तरफ से......,
पिछले काफी समय से करणी सेना में एक ट्रेंड देखने को मिल रहा है की संगठन में कालवी साहब जब किसी भी बन्ना को कोई जिम्मेवारी या पद से किसी भी कारण से हटाते है तो पद से हटते ही वो भाई सोसल मीडिया पर कालवी साहब,महिपाल जी और संगठन के बारे में उल जुलूल बातें करना शुरू कर देते हैं । ये वही भाई लोग हैं जो पद पर रहते हुए कालवी साहब को अपना पिता तुल्य बताते हैं लेकिन पद से हटने पर उसी पितातुल्य व्यक्ति में उनको कमियां नजर आने लगती है । क्या संगठन में सिर्फ पद का ही महत्व है ? क्या जो हजारों लाखों करणी सैनिक बिना किसी पद के काम कर रहे है उनके बिना इन पदाधिकारियों कोई महत्व है ? वर्तमान में महाराष्ट्र कार्यकारिणी में भी यही हो रहा है । कालवी साहब जो इस संगठन के जनक है,जिन्होंने हजारों राजपूत युवाओं को इस संगठन के माध्यम से समाज और देश में एक अलग पहचान दिलवाई । उन्होंने किसी को पद पर बिठाया तो क्या उनको हटाने का अधिकार नहीं है । क्या वो लोग संगठन से सिर्फ पद की लालसा से ही जुड़े हुवे थे । आज संगठन में अगर मैं कालवी साहब के आशीर्वाद से किसी पद पर हूँ तो कल इस पर कोई नया व्यक्ति आएगा ।
मेरा आप सभी करणी सैनिकों से अनुरोध है की महाराष्ट्र कार्यकारिणी भंग होने के बाद जिस प्रकार हमारे करणी सेना के संस्थापक कालवी साहब व राष्ट्रिय अध्यक्ष महिपालजी के बारे में अनर्गल बातें फेसबुक और व्हाट्सअप पर की जा रही है उनका सोशल मीडिया और हर प्रकार से विरोध किया जाये । हमारी शोशल मीडिया की टीम का भी दायित्व है की वो उनको उचित जवाब देवें ।
कोई भी कालवी साहब, महिपाल जी व संघठन के बारे में अनुशासनहीनता व अनर्गल बातें करेगा तो उसको तुरंत ही श्री राजपूत सेना से निष्काषित किया जाएगा ।
(कर्णप्रताप सिंह सिसोदिया)
(प्रदेशाध्यक्ष, राजस्थान)
(श्री राजपूत करणी सेना)
पिछले काफी समय से करणी सेना में एक ट्रेंड देखने को मिल रहा है की संगठन में कालवी साहब जब किसी भी बन्ना को कोई जिम्मेवारी या पद से किसी भी कारण से हटाते है तो पद से हटते ही वो भाई सोसल मीडिया पर कालवी साहब,महिपाल जी और संगठन के बारे में उल जुलूल बातें करना शुरू कर देते हैं । ये वही भाई लोग हैं जो पद पर रहते हुए कालवी साहब को अपना पिता तुल्य बताते हैं लेकिन पद से हटने पर उसी पितातुल्य व्यक्ति में उनको कमियां नजर आने लगती है । क्या संगठन में सिर्फ पद का ही महत्व है ? क्या जो हजारों लाखों करणी सैनिक बिना किसी पद के काम कर रहे है उनके बिना इन पदाधिकारियों कोई महत्व है ? वर्तमान में महाराष्ट्र कार्यकारिणी में भी यही हो रहा है । कालवी साहब जो इस संगठन के जनक है,जिन्होंने हजारों राजपूत युवाओं को इस संगठन के माध्यम से समाज और देश में एक अलग पहचान दिलवाई । उन्होंने किसी को पद पर बिठाया तो क्या उनको हटाने का अधिकार नहीं है । क्या वो लोग संगठन से सिर्फ पद की लालसा से ही जुड़े हुवे थे । आज संगठन में अगर मैं कालवी साहब के आशीर्वाद से किसी पद पर हूँ तो कल इस पर कोई नया व्यक्ति आएगा ।
मेरा आप सभी करणी सैनिकों से अनुरोध है की महाराष्ट्र कार्यकारिणी भंग होने के बाद जिस प्रकार हमारे करणी सेना के संस्थापक कालवी साहब व राष्ट्रिय अध्यक्ष महिपालजी के बारे में अनर्गल बातें फेसबुक और व्हाट्सअप पर की जा रही है उनका सोशल मीडिया और हर प्रकार से विरोध किया जाये । हमारी शोशल मीडिया की टीम का भी दायित्व है की वो उनको उचित जवाब देवें ।
कोई भी कालवी साहब, महिपाल जी व संघठन के बारे में अनुशासनहीनता व अनर्गल बातें करेगा तो उसको तुरंत ही श्री राजपूत सेना से निष्काषित किया जाएगा ।
(कर्णप्रताप सिंह सिसोदिया)
(प्रदेशाध्यक्ष, राजस्थान)
(श्री राजपूत करणी सेना)